Union budget in hindi
संघ बजट और सरकारी बजटिंग (Union Budget & Government Budgeting)
📜 परिचय
संघ बजट (Union Budget) को “वार्षिक वित्तीय विवरण” (Annual Financial Statement) कहा जाता है, जो सरकार की वार्षिक आय-व्यय, वित्तीय योजना और नीतियों का लेखा-जोखा प्रस्तुत करता है। यह सरकार की आर्थिक नीतियों का प्रतिबिंब होता है और देश के सामाजिक-आर्थिक विकास को प्रभावित करता है।
📌 संविधान में बजट का उल्लेख:
- अनुच्छेद 112 – वार्षिक वित्तीय विवरण (Union Budget)।
- अनुच्छेद 113 – अनुदान मांगें (Demand for Grants)।
- अनुच्छेद 114 – संसद से व्यय की अनुमति (Appropriation Bill)।
- अनुच्छेद 115 – पूरक अनुदान (Supplementary Grants)।
- अनुच्छेद 280 – वित्त आयोग (Finance Commission)।
✅ बजट सरकार की वित्तीय नीति का दर्पण होता है, जिससे राजस्व और व्यय को संतुलित करने की रणनीति बनाई जाती है।
1️⃣ बजट की परिभाषा और उद्देश्य
📌 परिभाषा:
बजट राज्य की वार्षिक आय और व्यय का विस्तृत विवरण है, जिसे वित्त मंत्री द्वारा संसद में प्रस्तुत किया जाता है।
📌 बजट के उद्देश्य:
✅ आर्थिक स्थिरता बनाए रखना।
✅ वित्तीय संसाधनों का उचित आवंटन।
✅ गरीबी उन्मूलन और समावेशी विकास।
✅ रोजगार सृजन और बुनियादी ढाँचे का विकास।
✅ मुद्रास्फीति और राजकोषीय घाटे को नियंत्रित करना।
2️⃣ बजट की श्रेणियाँ (Types of Budget)
📌 भारत में बजट को विभिन्न श्रेणियों में बाँटा जा सकता है:
🔹 1. राजकोषीय बजट (Fiscal Budget) – आय और व्यय का विवरण
✅ इसमें सरकार की राजस्व प्राप्तियाँ, पूंजीगत व्यय, और राजकोषीय घाटे का विवरण होता है।
🔹 2. वार्षिक बजट (Annual Budget) – सालाना बजट
✅ यह प्रत्येक वित्तीय वर्ष (1 अप्रैल से 31 मार्च) के लिए तैयार किया जाता है।
🔹 3. अंतरिम बजट (Interim Budget) – अस्थायी बजट
✅ जब सामान्य बजट पेश करने का समय न हो (जैसे चुनावी वर्ष में), तब सरकार एक अस्थायी बजट पेश करती है।
🔹 4. लेखानुदान (Vote on Account) – आवश्यक खर्चों के लिए बजट
✅ जब पूर्ण बजट पारित नहीं होता, तो सरकार को अस्थायी खर्चों के लिए संसद की अनुमति की आवश्यकता होती है।
3️⃣ बजट के दो प्रमुख घटक (Components of Budget)
📌 भारतीय बजट के दो प्रमुख घटक होते हैं:
🔹 1. राजस्व बजट (Revenue Budget)
✅ इसमें सरकार की आय और व्यय शामिल होते हैं।
✅ इसमें दो प्रकार की प्राप्तियाँ होती हैं:
- राजस्व प्राप्तियाँ (Revenue Receipts) – कर राजस्व (Tax Revenue) और गैर-कर राजस्व (Non-Tax Revenue)।
- राजस्व व्यय (Revenue Expenditure) – वे व्यय जो सरकार के सामान्य प्रशासन और सेवाओं के लिए होते हैं।
🔹 2. पूंजी बजट (Capital Budget)
✅ इसमें दीर्घकालिक संपत्तियों, परियोजनाओं और ऋणों से संबंधित वित्तीय गतिविधियाँ शामिल होती हैं।
✅ इसमें दो घटक होते हैं:
- पूंजीगत प्राप्तियाँ (Capital Receipts) – ऋण, सार्वजनिक उपक्रमों की बिक्री, विदेशी निवेश आदि।
- पूंजीगत व्यय (Capital Expenditure) – आधारभूत संरचना, रक्षा, और अन्य दीर्घकालिक निवेश।
✅ उदाहरण:
- मनरेगा (MGNREGA), कृषि सब्सिडी – राजस्व व्यय।
- सड़क निर्माण, मेट्रो परियोजना – पूंजीगत व्यय।
4️⃣ बजट बनाने की प्रक्रिया (Budget Making Process in India)
📌 बजट तैयार करने की प्रक्रिया वित्त मंत्रालय (Ministry of Finance) द्वारा की जाती है, जिसमें विभिन्न मंत्रालयों और विभागों से इनपुट लिए जाते हैं।
🔹 बजट निर्माण की प्रमुख चरण:
1️⃣ विभिन्न मंत्रालयों से बजट प्रस्ताव एकत्र करना।
2️⃣ वित्त मंत्रालय द्वारा इन प्रस्तावों का मूल्यांकन।
3️⃣ राजकोषीय घाटे और आर्थिक संकेतकों का आकलन।
4️⃣ बजट का मसौदा तैयार करना और मंत्रिमंडल की स्वीकृति लेना।
5️⃣ वित्त मंत्री द्वारा संसद में बजट प्रस्तुत करना (आमतौर पर फरवरी के पहले दिन)।
6️⃣ बजट पर संसद में चर्चा और बहस।
7️⃣ संसद द्वारा बजट पारित किया जाना।
✅ बजट पेश करने की परंपरा पहले शाम को होती थी, लेकिन 2017 से इसे सुबह 11 बजे पेश किया जाने लगा।
5️⃣ बजट घाटा और उसके प्रकार (Budget Deficit & Its Types)
📌 घाटा (Deficit) का अर्थ है कि सरकार का व्यय उसकी आय से अधिक हो गया।
🔹 बजट घाटे के प्रमुख प्रकार:
1️⃣ राजकोषीय घाटा (Fiscal Deficit) – कुल व्यय और कुल प्राप्तियों का अंतर।
2️⃣ राजस्व घाटा (Revenue Deficit) – राजस्व व्यय और राजस्व प्राप्तियों का अंतर।
3️⃣ प्राथमिक घाटा (Primary Deficit) – राजकोषीय घाटे में ब्याज भुगतान को घटाकर प्राप्त किया गया घाटा।
4️⃣ वित्तीय घाटा (Monetary Deficit) – सरकार के ऋण और देनदारियों का विवरण।
✅ भारत का राजकोषीय घाटा जीडीपी का लगभग 5.8% (2023-24) है।
6️⃣ बजट में प्रमुख सुधार (Budgetary Reforms in India)
📌 बजट प्रक्रिया को और पारदर्शी और प्रभावी बनाने के लिए कई सुधार किए गए हैं:
✅ 2017 से रेल बजट को मुख्य बजट में शामिल किया गया।
✅ बजट पेश करने की तारीख 1 फरवरी कर दी गई।
✅ प्लान और नॉन-प्लान एक्सपेंडिचर की अवधारणा समाप्त कर दी गई।
✅ GST (2017) लागू कर अप्रत्यक्ष कर प्रणाली को सरल बनाया गया।
✅ डिजिटल भुगतान और प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (DBT) को बढ़ावा दिया गया।
7️⃣ सरकार की प्रमुख बजट घोषणाएँ और योजनाएँ
📌 हाल के वर्षों में बजट में प्रमुख योजनाएँ:
- PM Awas Yojana – सस्ती आवास योजना।
- Atmanirbhar Bharat – आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने के लिए पैकेज।
- PLI Scheme – मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर को बढ़ावा देने के लिए प्रोत्साहन।
- Agriculture Infra Fund – कृषि बुनियादी ढाँचे को मजबूत करना।
✅ बजट में स्वास्थ्य, शिक्षा, रोजगार और आधारभूत संरचना पर विशेष ध्यान दिया जाता है।
🔍 निष्कर्ष
📌 भारतीय बजट देश की आर्थिक दिशा को तय करता है और सामाजिक-आर्थिक विकास में अहम भूमिका निभाता है।
📌 UPSC के दृष्टिकोण से, बजट के विभिन्न घटक, घाटे के प्रकार, बजट सुधार और आर्थिक योजनाएँ महत्वपूर्ण हैं।
📌 सरकार को बजट पारदर्शी बनाने और राजकोषीय घाटे को नियंत्रित करने के लिए ठोस कदम उठाने चाहिए।
UPSC में संभावित प्रश्न:
1️⃣ “संघीय बजट की प्रमुख विशेषताओं का वर्णन करें।”
2️⃣ “राजकोषीय घाटा और राजस्व घाटे में अंतर स्पष्ट करें।”
3️⃣ “बजट निर्माण की प्रक्रिया और उसमें हुए सुधारों का विश्लेषण करें।”
FAQ
1. केंद्रीय बजट (Union Budget) क्या होता है?
2. केंद्रीय बजट कौन प्रस्तुत करता है?
बजट वित्त मंत्री (Finance Minister) द्वारा लोकसभा में प्रस्तुत किया जाता है।
3. बजट की प्रस्तुति की तारीख क्या होती है?
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पहले, बजट 28 फरवरी को पेश किया जाता था।
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2017 से इसे 1 फरवरी को पेश किया जाता है ताकि इसे 1 अप्रैल से लागू किया जा सके।
4. केंद्रीय बजट कितने प्रकार का होता है?
मुख्य रूप से दो प्रकार के बजट होते हैं:
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राजस्व बजट (Revenue Budget) – जिसमें सरकारी आमदनी और खर्च का विवरण होता है।
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पूंजीगत बजट (Capital Budget) – जिसमें दीर्घकालिक निवेश, ऋण, संपत्तियों का विवरण होता है।
5. अंतरिम बजट (Interim Budget) क्या होता है?
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जब किसी चुनावी वर्ष में पूरी सरकार बजट पेश करने की स्थिति में नहीं होती, तब अंतरिम बजट पेश किया जाता है।
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इसमें सरकार केवल अगले कुछ महीनों के खर्चों के लिए संसद से अनुमति मांगती है।
6. वोट ऑन अकाउंट (Vote on Account) क्या है?
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यह एक अस्थायी प्रावधान होता है जिसमें सरकार को एक निश्चित अवधि (आमतौर पर 2-4 महीने) के लिए खर्च करने की अनुमति दी जाती है।
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यह तब लागू होता है जब अंतरिम बजट पेश किया जाता है।
7. बजट को पारित करने की प्रक्रिया क्या होती है?
बजट को पारित करने के लिए निम्नलिखित चरणों से गुजरना पड़ता है:
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बजट भाषण (Budget Speech) – वित्त मंत्री बजट को प्रस्तुत करते हैं।
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विभागीय चर्चा (Departmental Discussion) – विभिन्न मंत्रालयों के बजट पर चर्चा होती है।
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मांगों पर मतदान (Voting on Demands for Grants) – लोकसभा सरकार को विभिन्न खर्चों के लिए अनुमति देती है।
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वित्त विधेयक (Finance Bill) और विनियोग विधेयक (Appropriation Bill) पारित किए जाते हैं।
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राष्ट्रपति की स्वीकृति (Presidential Approval) के बाद बजट लागू हो जाता है।
8. बजट में मुख्य रूप से कौन-कौन से कर शामिल होते हैं?
सरकार की आय का मुख्य स्रोत कर (Tax) होते हैं, जो दो प्रकार के होते हैं:
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प्रत्यक्ष कर (Direct Taxes) – जैसे आयकर (Income Tax), कॉर्पोरेट टैक्स (Corporate Tax)।
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अप्रत्यक्ष कर (Indirect Taxes) – जैसे जीएसटी (GST), सीमा शुल्क (Custom Duty), उत्पाद शुल्क (Excise Duty)।
9. बजट घाटा (Budget Deficit) क्या होता है?
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जब सरकार का कुल खर्च उसकी कुल आय से अधिक होता है, तो इसे बजट घाटा (Fiscal Deficit) कहा जाता है।
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इसे पूरा करने के लिए सरकार ऋण लेती है या बॉन्ड जारी करती है।
10. कौन-से मंत्रालय बजट बनाने में शामिल होते हैं?
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वित्त मंत्रालय (Ministry of Finance) मुख्य भूमिका निभाता है।
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इसमें राजस्व विभाग (Department of Revenue), व्यय विभाग (Department of Expenditure), आर्थिक मामले विभाग (Department of Economic Affairs) आदि शामिल होते हैं।
11. बजट के ऐतिहासिक तथ्य क्या हैं?
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भारत का पहला बजट 1860 में ब्रिटिश शासन के दौरान जेम्स विल्सन ने पेश किया था।
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स्वतंत्र भारत का पहला बजट आर.के. शनमुखम चेट्टी ने 26 नवंबर 1947 को पेश किया था।
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सबसे लंबा बजट भाषण (2 घंटे 42 मिनट) निर्मला सीतारमण (2020) ने दिया था।
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सबसे छोटा बजट भाषण 1947 में आर.के. शनमुखम चेट्टी ने दिया था।
12. बजट पेपर प्रिंटिंग का कौन-सा ऐतिहासिक स्थान है?
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पहले, बजट नॉर्थ ब्लॉक के अंदर प्रिंट होता था।
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1980 से इसे राष्ट्रपति भवन के भीतर ‘हलवा सेरेमनी’ के बाद छापा जाता है।
13. “हलवा सेरेमनी” क्या होती है?
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बजट पेश होने से पहले, वित्त मंत्रालय के अधिकारियों को प्रोत्साहित करने के लिए हलवा सेरेमनी आयोजित की जाती है।
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इसके बाद अधिकारी “लॉक-इन” प्रक्रिया में चले जाते हैं और बजट पेश होने तक बाहरी दुनिया से संपर्क नहीं कर सकते।
14. ग्रीन बजट (Green Budget) क्या होता है?
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इसमें पर्यावरण और सतत विकास (Sustainable Development) से जुड़े प्रावधानों पर जोर दिया जाता है।
15. सरकार बजट में सामाजिक योजनाओं पर कितना खर्च करती है?
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सरकार स्वास्थ्य, शिक्षा, ग्रामीण विकास, महिला सशक्तिकरण, कृषि आदि पर विशेष रूप से ध्यान देती है।
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योजनाओं में मनरेगा, पीएम किसान योजना, आयुष्मान भारत, डिजिटल इंडिया आदि शामिल होते हैं।
16. बजट पारित होने के बाद इसे कौन लागू करता है?
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संबंधित मंत्रालय और विभाग बजट प्रावधानों को लागू करते हैं।
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कैग (CAG – Comptroller and Auditor General) बजट खर्च की निगरानी करता है।
17. क्या राज्य सरकारें भी बजट पेश करती हैं?
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हां, प्रत्येक राज्य सरकार अपना राज्य बजट पेश करती है।
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राज्य बजट विधानसभा (State Legislative Assembly) में पेश किया जाता है।
18. क्या बजट को चुनौती दी जा सकती है?
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बजट को संसद द्वारा ही बदला या संशोधित किया जा सकता है।
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न्यायपालिका इसमें हस्तक्षेप नहीं कर सकती, सिवाय इसके कि यदि यह संविधान का उल्लंघन करता हो।
19. बजट को पारदर्शी बनाने के लिए क्या कदम उठाए गए हैं?
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2017 में रेल बजट और आम बजट को एक कर दिया गया।
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सरकार ने ‘पेपरलेस बजट’ पेश करना शुरू किया।
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बजट के लिए “यूनियन बजट मोबाइल ऐप” लॉन्च किया गया, जिससे आम जनता को भी बजट की जानकारी मिल सके।
20. बजट से आम जनता पर क्या प्रभाव पड़ता है?
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करों में बदलाव से आम नागरिकों को फायदा या नुकसान हो सकता है।
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सरकारी योजनाओं पर खर्च बढ़ने से गरीब और मध्यम वर्ग को लाभ हो सकता है।
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ब्याज दरों और सब्सिडी में बदलाव से घर, गाड़ी और शिक्षा ऋण सस्ता या महंगा हो सकता है।